इलेक्ट्रिक कार की पसंद दिन पर दिन बढ़ती जा रही है, जिससे लोग अब लंबी दूरी के लिए भी ईवी का प्रयोग करने में डरते नहीं हैं। इसी बढ़ती मांग को देखते हुए जगह-जगह चार्जिंग स्टेशनों की गिनती में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। हालांकि, लंबी यात्रा पर निकलने से पहले यह पक्का करना बेहद जरूरी है कि आपका ईवी वाहन पूरी तरह से ठीक स्थिति में हो। ऐसा करने से न केवल आपकी यात्रा आसान बनेगी, बल्कि किसी अनचाही खराबी में आपके रास्ते में अटकने की संभावना भी कम होगी।
ईवी वाहन की देखभाल में कुछ जरूरी जांचें बेहद अहम होती हैं। हम आपको ऐसी 5 आसान और जरूरी जांचों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्हें अपनाकर आप अपनी ईवी की इस्तेमाल को बढ़ाकर और यात्रा को सुरक्षित बना सकते हैं।
बैटरी का मूल्यांकन
चार्ज क्षमता: सुनुशचित करें कि आपकी बैटरी यात्रा से पहले पूरी तरह से भरी हुई हो, बैटरी जरूरी दूरी पर चल सके और ऊर्जा क्षमता पर काम कर सके।
सेल बैलेंस: इलेक्ट्रिक गाड़ी आमतौर पर अपने सेल को अपने आप से संतुलित करता है जब वह चार्जिंग के अंत में होता है। इसलिए, चार्जिंग के दौरान आपको बस अपने गाड़ी को 100 प्रतिशत तक भरी हुई रखना है और सेल खुद संतुलित हो जाएगा। इससे बैटरी और सेल की लंबे समय तक काम करने की क्षमता में बढ़ जाती हैं।
इलेक्ट्रिक कार के टायर की स्थिति और दबाव
टायर की गहराई: टायर गाड़ी का एक जरूरी हिस्सा हैं क्योंकि ये गाड़ी और सड़क के बीच संपर्क में आने वाली इकलौती चीज़ हैं। गीली या फिसलन वाली सड़कों पर टायर की अच्छी पकड़ बनाने के लिए आपके टायर में पर्याप्त डिज़ाइन होना ज़रूरी हैं। टायर को तब बदलना चाहिए जब उसमें गड़बड़ डिज़ाइन, सूजन, फफोले या साइड में कोई नुकसान हो।
टायर प्रेशर: गाड़ी बनाने वाले द्वारा बताए गए हवा के दबाव को बनाए रखने से गाड़ी की परफॉर्मेंस और कंट्रोल में सुधार हो सकता है।
टायर का संतुलन और सीधाई: टायर का संतुलन और सीधाई, टायर की उम्र, ईंधन की परफॉर्मेंस और चलाने के अनुभव पर असर डाल सकते हैं। जिसका ध्यान रखकर चालक को कम मेहनत लगेगी।
ब्रेक पैड की मोटाई: यदि अचानक ब्रेक फेल हो जाए तो पर्याप्त ब्रेक पैड सामग्री सुनिश्चित करें।
ब्रेक फ्लूइड लेवल: ब्रेक फ्लूइड के लेवल और गुणवत्ता की जांच करें। अगर यह आवश्यक स्तर पर नहीं है, तो इसे फिर से भरना चाहिए।
रीजनरेटिव ब्रेकिंग सिस्टम: रीजनरेटिव ब्रेकिंग सिस्टम की जाँच करें, जो ऊर्जा की बचत और ब्रेक के घिसाव को कम करने में मदद करता है। यह विशिष्ट ढंग से ढलान पर जाते हुए और ब्रेक लगाने में बैटरी को रिचार्ज करने में सहायक होता है। रीजनरेटिव ब्रेकिंग आमतौर पर 80 प्रतिशत से कम बैटरी पर काम करती है।
कूलिंग सिस्टम का प्रदर्शन
कुलेंट स्तर: गाड़ी के इलेक्ट्रिक मोटर और बैटरी कूलिंग सिस्टम में कूलंट के स्तर की जाँच करें। कूलंट का उद्देश्य यह है कि बैटरी और इलेक्ट्रिक मोटर ज्यादा गर्म न हों।
चार्जिंग पोर्ट और केबल की जांच
पोर्ट की स्थिति: चार्जिंग पोर्ट पर किसी भी तरह के ज़ंग या ढीले कनेक्शन होने की जांच करें।
केबल की प्रदर्शन क्षमता: चार्जिंग केबल की जांच करें कि यह सही से काम कर रहा है की नहीं और सही चार्जिंग स्पीड प्रदान कर सकता है की नहीं।
लंबी यात्रा पर निकलने से पहले वाहन की स्थिति को सही तरीके से जांचना बेहद जरूरी है। जब आप बैटरी, टायर, चार्जिंग, और गाड़ी के दूसरे हिस्सों की सावधानीपूर्वक जांच करते हैं, तो इससे न केवल आपका ड्राइविंग अनुभव स्मूथ बनता है, बल्कि आप किसी भी अचानक आने वाली समस्या से बच सकते हैं। ऐसा करने से आपके वाहन की परफॉर्मेंस भी बेहतर होती है, जिससे सफर के दौरान आपको रुकावटों का सामना नहीं करना पड़ता।
उदाहरण के लिए, टायर में हवा सही मात्रा में होना, बैटरी पूरी तरह चार्ज होना, और गाड़ी के ब्रेक अच्छी हालत में होना सफर को सुरक्षित बनाते हैं। इन तैयारियों के साथ आप न केवल यात्रा का आनंद ले सकते हैं, बल्कि अपने और अपने सहयात्रियों की सुरक्षा भी सुनिश्चित कर सकते हैं। एक तैयार वाहन के साथ सफर करना हर तरह से सुकून और आराम का अनुभव देता है।